मयूरभंज, 1 सितंबर . ओडिशा के मयूरभंज जिले के उडाला में कथित सामूहिक बलात्कार की घटना को पुलिस ने एक सुनियोजित साजिश करार दिया है, जिसे बारीपदा जेल के दो कैदियों ने रचा था.
मयूरभंज पुलिस ने इस मामले का पर्दाफाश करते हुए बताया कि कपटीपाड़ा के नाना साय और सारत के श्याम सुंदर राणा ने जेल से ही इस झूठी कहानी को अंजाम देने की योजना बनाई. इसका मकसद उन लोगों को फंसाना था, जिन्होंने पहले उनके खिलाफ शिकायत दर्ज की थी.
पुलिस जांच में खुलासा हुआ कि शिकायतकर्ता, एक युवती, और उसकी मां ने इस साजिश में अहम भूमिका निभाई. युवती की मां, जो कथित तौर पर आरोपी श्याम सुंदर राणा की बहन है, ने लंबे समय तक शिकायतकर्ताओं के बारे में जानकारी जुटाई. दोनों ने मिलकर बांगिरिपोसी पुलिस स्टेशन में सामूहिक बलात्कार की झूठी शिकायत दर्ज की, जिसमें दावा किया गया कि पांच युवकों ने उडाला में एक ओमनी वैन में युवती का अपहरण कर उसका यौन उत्पीड़न किया.
पुलिस ने त्वरित कार्रवाई करते हुए दो संदिग्धों को हिरासत में लिया, लेकिन कहानी में विसंगतियों और गहन जांच के बाद यह साजिश उजागर हो गई. मयूरभंज के अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक दीपक कुमार गोछायात ने से बात करते हुए पुष्टि की कि यह पूरी घटना व्यक्तिगत बदले की भावना से प्रेरित थी, जिसका उद्देश्य निर्दोष लोगों को झूठे आरोप में फंसा कर जेल भेजना था.
उन्होंने कहा, “झूठी शिकायत दर्ज कर कानून का दुरुपयोग करने के लिए युवती और उसकी मां के खिलाफ सख्त कानूनी कार्रवाई की जाएगी.”
इस मामले में पुलिस के खुलासे के बाद लोगों में नाराजगी है और वे आरोपियों पर जरूरी कार्रवाई की मांग कर रहे हैं. कई सामाजिक कार्यकर्ताओं ने कानूनी प्रावधानों के दुरुपयोग पर चिंता जताई है. उनका कहना है कि ऐसी हरकतें यौन हिंसा के वास्तविक मामलों की गंभीरता को कमजोर करती हैं और समाज में गलत संदेश देती हैं.
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एससीएच
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